शिमला । 3 मई 2025 । हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संजौली क्षेत्र में स्थित पांच मंजिला मस्जिद को लेकर चल रहे विवाद में नया मोड़ आया है। शिमला जिला अदालत ने मस्जिद की तीन मंजिलों को अवैध करार देते हुए उन्हें गिराने का आदेश बरकरार रखा है। मुस्लिम वेलफेयर सोसाइटी द्वारा दायर अपील को अदालत ने खारिज कर दिया, जिसमें नगर निगम आयुक्त के आदेश को चुनौती दी गई थी।
मस्जिद निर्माण का विवाद
संजौली मस्जिद का निर्माण 2009 में शुरू हुआ था। स्थानीय लोगों का आरोप है कि यह निर्माण बिना किसी वैध अनुमति के किया गया और 2018 तक पांच मंजिलें बना दी गईं। शिमला जैसे संवेदनशील क्षेत्र में, जहां साढ़े तीन मंजिल से अधिक की इमारतों पर प्रतिबंध है, वहां पांच मंजिला मस्जिद का निर्माण विवाद का कारण बना।
मुस्लिम समिति की प्रतिक्रिया
स्थानीय मुस्लिम कल्याण समिति ने नगर निगम आयुक्त को ज्ञापन सौंपकर विवादित हिस्से को सील करने का अनुरोध किया था। समिति ने शांति और सद्भाव बनाए रखने के लिए अवैध हिस्से को स्वयं गिराने की पेशकश भी की थी।
अदालत का निर्णय
शिमला जिला अदालत ने मुस्लिम वेलफेयर सोसाइटी की अपील को खारिज करते हुए नगर निगम आयुक्त के आदेश को बरकरार रखा, जिसमें मस्जिद की तीन मंजिलों को अवैध अतिक्रमण बताते हुए गिराने का निर्देश दिया गया था। अब मस्जिद की तीन मंजिलों को गिराने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
संजौली मस्जिद विवाद ने स्थानीय स्तर पर सामाजिक और धार्मिक समरसता को प्रभावित किया है। हालांकि मुस्लिम समिति द्वारा अवैध हिस्से को स्वयं गिराने की पहल से स्थिति में सुधार की उम्मीद है। अदालत के आदेश के अनुसार, अब मस्जिद की तीन मंजिलों को गिराने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी, जिससे विवाद का समाधान हो सके।